लौंग भारतीय रसोई का सिर्फ एक ज़ायकेदार मसाला ही नहीं बल्कि यह घरेलू नुस्खों में काफी प्रयोग की जाती है। फ़िर चाहे वो सर्दी खांसी हो, दांत का दर्द हो या शुगर लेवल नियंत्रित करना। लौंग के कई हेल्थ बेनेफिट्स में एक शुगर लेवल पर नियंत्रण भी शामिल है, तो आइए इस ब्लॉग में जाने डायबिटीज़ रोगी कैसे करें लौंग का सेवन जिससे ब्लड शुगर नियंत्रित रहे।
लौंग या साइजीगियम एरोमैटिकम, मूल रूप से अलग-अलग सुगंध वाली फूलों की कलियां हैं जो सदाबहार पेड़ों से मिलती है। ये सूखे फूलों की कलियाँ सबसे पहले चीन में उगाई गई जहां से यह यूरोप और एशिया में पहुंची। लौंग के कई फायदे है जो मसाले और दवा दोनों में गिने जाते हैं। इसके महत्वपूर्ण स्वास्थ्य लाभ हैं लिवर हेल्थ और शरीर में शुगर लेवल्स को सामान्य करना। यह कई तरह की रेसिपी में स्वाद बढ़ाने और गर्म पेय जैसे चाय आदि में भी डाली जाती है। इसकी तासीर गर्म होती है इसलिए इसे अत्यधित नहीं खाना चाहिए।
लौंग क्या हैं? (What is Clove?)
लौंग के पेड़ की सूखी हुईकलियों को हे लौंग कहते है। लौंग एक प्रमुख मसाला है जिसका उपयोग दुनिया भर में खाना पकाने के कई तरीकों में किया जाता है। भारत में, यह एक घरेलू उपचार है जो कई स्वास्थ्य स्थितियों को ठीक कर सकता है। इसमें एक तेज़ सुगंध होती है और इसका स्वाद भी कुछ चरका होता है। भोजन को एक अलग स्वाद देने के लिए इसका उपयोग किया जाता है। गहरे भूरे रंग की ये कलियां कई व्यंजनों जैसे करी, कुकीज़, ब्रेड आदि को तीखापन देती हैं। इसे लौंग पाउडर या पूरी कली के रूप में भी इस्तेमाल किया जा सकता है। यह अन्य मसालों या जड़ी-बूटियों जैसे दालचीनी और जायफल के समान होती है। आप विभिन्न दादी के नुस्खे में इसका नाम सुन सकते हैं। इसकी तासीर गर्म होती है इसलिए इसका प्रयोग सर्दियों में सर्दी और गले की खराश को ठीक करने के लिए किया जाता है।
लौंग का पोषण मूल्य (Nutritional Value of Clove)
लौंग विटामिन, खनिज और फाइबर जैसे पोषक तत्वों से भरपूर होती है। यह पोषक तत्वों का एक अच्छा स्रोत है और किसी भी व्यंजन के स्वाद को बढ़ाता है।
आइए जानें 2 ग्राम पिसी हुई लौंग में मौजूद कई पोषक तत्व और उनकी मात्रा:
लौंग का पोषण मूल्य | ||||
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पोषक तत्व (प्रति 2 ग्राम) | मात्रा | |||
कैलोरी | 6Kcal | |||
कार्बोहाइड्रेट | 1 ग्राम | |||
फाइबर | 1 ग्राम | |||
शुगर | 1 ग्राम से कम | |||
मेंगनीज़ | 55% (दैनिक मात्रा की) | |||
विटामिन के | 2% (दैनिक मात्रा की) |
लौंग में अधिक मात्रा में मैंगनीज होता है जो मस्तिष्क और हड्डियों के स्वास्थ्य के लिए एक आवश्यक मिनरल है।
इन पोषक तत्वों के अलावा, यह पोटेशियम, विटामिन के, बीटा कैरोटीन, आयरन, कैल्शियम और यूजेनॉल का भी एक समृद्ध स्रोत है। यह कैलोरी में कम है और इसमें कुछ खनिजों की उचित मात्रा होती है।
लौंग का ग्लाइसेमिक इंडेक्स और ग्लाइसेमिक लोड (Glycemic Index of Clove)
लौंग लो-कैलोरी, लो-कार्ब फूड है जिसमें लो ग्लाइसेमिक इंडेक्स होता है। इसका जीआई 30 है। लौंग ब्लड शुगर के लिए अच्छी होती है क्योंकि इनका जीआई और जीएल दोनों ही कम होता है। इसका ग्लाइसेमिक लोड 1.2/250 है जो बहुत कम है।
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लौंग और डायबिटीज़ (Clove and Diabetes)
इसके एंटीसेप्टिक गुणों के साथ, लौंग डायबिटीज़ में एंटीइंफ़्लेमेट्री और पाचन संबंधी लाभ प्रदान करती है। लौंग ब्लड शुगर लेवल को नियंत्रण में रखने में भी मदद करती है और इंसुलिन उत्पादन को बढ़ावा देती है, जिससे डायबिटीज़ को नियंत्रित किया जा सकता है। जर्नल नेचुरल मेडिसिन के एक अध्ययन में आनुवंशिक रूप से डायबिटिक चूहों पर लौंग के हाइपोग्लाइसेमिक प्रभावों की जांच की गई और पाया गया कि इसका अर्क इंसुलिन के स्राव को बढ़ाने और इंसुलिन उत्पन्न करने वाली कोशिकाओं के कार्य में सुधार करने में मदद करता है।
लौंग औषधीय गुणों से भरपूर होने के साथ ही सेहत के लिए बहुत फायदेमंद होती है। इसके सेवन से सर्दी, खांसी, सिरदर्द आदि कई बीमारियों से छुटकारा मिलता है। लौंग में ऐसे गुणकारी गुण भी होते हैं जो ब्लड में ग्लूकोज के स्तर को नियंत्रित करने में मदद करते हैं। हालांकि इसे इस्तेमाल करने से पहले एक बार डॉक्टर से सलाह जरूर लें।
इंसुलिन एक हार्मोन है जो आपके ब्लड शुगर लेवल को नियंत्रण में रखने में मदद करता है। डायबिटीज़ रोगियों में, इंसुलिन हार्मोन अक्सर बिगड़ा हुआ होता है, यही कारण है कि सिस्टम के लिए यह प्रोसेस करना मुश्किल हो जाता है कि कितनी चीनी की शरीर को ज़रूरत है और कितनी अतिरिक्त चीनी है। लौंग का तेल इंसुलिन के स्तर को बनाए रखने में भी मदद करता है। लौंग के तेल का सेवन करने से भोजन के बाद इंसुलिन और ग्लूकोज प्रतिक्रिया तंत्र या ग्लुकोज़ रेस्पॉन्स मेकेनिज़्म में काफी सुधार होता है।
लौंग कैसे काम करती है? (How does the Clove Work in Human Body?)
वैज्ञानिकों ने सप्लीमेंट के सेल-स्तरीय प्रभावों का अध्ययन करने के लिए सेल (कोशिका) कल्चर में पॉलीफेनोल-युक्त लौंग का अर्क या एक्सट्रेक्ट मिलाया। इसमें पाया गया की लौंग का अर्क तीन अलग-अलग तरीकों से काम करता है, यह मांसपेशियों या मसल्स की कोशिकाओं में ग्लुकोज़ के अपटेक को 63% तक बढ़ा देता है जो मेटाबोलिज़्म को बढ़ा कर ब्लड सर्कुलेशन से शुगर को बाहर कर देता है। यह लिवर सेल्स में ग्लुकोज़ के बनने को रोकती हैं जहां से ज़्यादातर शरीर में शुगर रीलीज़ होती है जिसे ग्लूकोनोजेनेसीस कहा जाता है। यह इस प्रक्रिया को रोकती या कम करती है। यह दो पाचक एंजाइमों (अल्फा-ग्लूकोसिडेस और अल्फा-एमाइलेज) को इनहिबिट या रोकती है जो सुक्रोज (टेबल शुगर) और स्टार्च जैसे यौगिकों से ग्लूकोज निकालते हैं।
इन निष्कर्षों से पता चलता है कि यह लौंग का अर्क कई तरह से डायबिटीज़ मरीज़ों को फायदा देता है: सामान्य और प्रीडायबेटिक लोगों में भोजन के बाद ब्लड शुगर स्पाइक्स से बचाव करता है। प्रीडायबिटीज में फास्टिंग ग्लूकोज को कम करता है। मांसपेशियों की कोशिकाओं द्वारा ग्लूकोज की खपत या उपयोग को बढ़ाता है। लौंग के अर्क का ब्लड शुगर पर तत्काल और स्थायी प्रभाव पड़ता है।
वे आंत से ग्लूकोज के अवशोषण को धीमा करता हैं, लिवर में नए ग्लूकोज उत्पादन को कम करता हैं, और मांसपेशियों की कोशिकाओं द्वारा ग्लूकोज की खपत को बढ़ावा देता हैं – यह सभी क्रियाएं ब्लड शुगर लेवल को कम करने में मदद करती हैं।
क्या डायबिटीज़ रोगी लौंग खा सकते हैं? (Can Diabetics Eat Clove?)
कई अध्ययनों ने सुझाव दिया है कि लौंग मधुमेह के लिए अच्छी होती है। यह ब्लड शुगर लेवल को नियंत्रित करने और इंसुलिन उत्पादन को बढ़ाने में मदद करती है। यह “सुपर मसाला” या “सुपर स्पाइस” कोशिकाओं को इंसुलिन स्रावित करने में मदद करती है जो शरीर में मॉडरेट ब्लड शुगर लेवल के लिए ज़िम्मेदार होता है।
लौंग का जीआई और जीएल कम कार्ब और कैलोरी वाला होता है जो इसे डायबिटीज़ के लिए अनुकूल और सुरक्षित मसाला बनाता है। लौंग का तेल पीपी शुगर लेवल और जीआरएम (ग्लुकोज़ रेस्पॉन्स मेकेनिज़्म) को बनाए रखने में मदद करता है।
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लौंग के स्वास्थ्य लाभ (Health Benefits of Clove)
कुछ आवश्यक पोषक तत्वों की प्रचुरता के साथ-साथ लौंग में कई औषधीय लाभ होते हैं। वे बीटा कैरोटीन का एक अच्छा स्रोत हैं जो इसके भूरे रंग के लिए भी जिम्मेदार है। बीटा कैरोटीन में एंटीऑक्सीडेंट और प्रोविटामिन गुण होते हैं। यह विटामिन ए में परिवर्तित हो जाता है जो आंखों और संपूर्ण स्वास्थ्य के लिए एक आवश्यक पोषक तत्व है।
आइए जानते हैं लौंग के कई स्वास्थ्य लाभ:
एंटीऑक्सीडेंट (Antioxidant)
लौंग एक शक्तिशाली एंटीऑक्सीडेंट है जो कई क्रोनिक हेल्थ कंडिशन्स के इलाज में मदद करती है। एंटीऑक्सिडेंट ऑक्सीडेटिव तनाव को कम करने में मदद करते हैं जो हृदय रोग, कैंसर और डायबिटीज़ जैसी पुरानी या क्रोनिक बीमारियों को रोकता है। लौंग यूजेनॉल से भरपूर है जो एक प्राकृतिक एंटीऑक्सीडेंट है। यह किसी भी अन्य एंटीऑक्सीडेंट की तुलना में फ्री रेडिकल्स से 5 गुना अधिक लड़ता है। यह सेल डेमेज को रोकता है और कई बीमारियों के विकास को रोकता है।
अपने आहार में अन्य एंटीऑक्सीडेंट युक्त खाद्य पदार्थों के साथ लौंग को शामिल करने से आपका स्वास्थ्य बेहतर हो सकता है।
एंटीइंफ़्लेमेट्री (Anti-inflamtory)
लौंग के एंटीइंफ़्लेमेट्री गुण दो महत्वपूर्ण और शक्तिशाली फाइटोन्यूट्रिएंट्स, यूजेनॉल और आइसोयूजेनॉल के वजह से होते हैं। ये फाइटोन्यूट्रिएंट्स शरीर में सूजन या इंफ़्लेमेशन को कम करते हैं और गठिया या पुरानी स्थितियों के विकास को रोकते हैं।
कैंसर रोधी गुण (Anti-Cancerous Property)
लौंग में मौजूद यूजेनॉल इसे कैंसर रोधी गुण प्रदान करता है। कुछ टेस्ट-ट्यूब स्टडी बताती हैं कि यूजेनॉल में कैंसर सेल्स को मारने की क्षमता है और यह सर्वाइकल और ईसोफ़ेगस कैंसर में ट्यूमर के विकास को भी रोक सकता है। हालांकि लौंग के कैंसर रोधी गुणों को समझने के लिए और शोध की आवश्यकता है। यूजेनॉल अधिक मात्रा में विषैला या टॉक्सिक होता है जो स्वास्थ्य, विशेष रूप से लिवर हेल्थ को महत्वपूर्ण रूप से प्रभावित कर सकता है
टीडायबिटिक (Antibiotic)
लौंग को उसके एंटी-डायबिटिक गुणों के लिए भी जाना जाता है। नाइजेरिसिन यौगिकों की उपस्थिति के कारण इसे ब्लड शुगर लेवल को नियंत्रित करने के लिए माना जाता है। यह इंसुलिन रेज़िस्टेंस को कम करने में मदद करता है और मॉडरेट शुगर लेवल को बढ़ावा दे सकता है।
लौंग इंसुलिन बनाने वाली सेल्स के कार्यों को बेहतर बनाने और उनके स्तर को मेनेज करने में भी मदद करती है। हालांकि इस विषय पर और अध्ययन की जरूरत है।
एंटी-माइक्रोबियल गुण (Anti-microbial Properties)
लौंग में रोगाणुरोधी या एंटीमाइक्रोबियल एजेंट होते हैं जो बैक्टीरिया जैसे सूक्ष्मजीवों के विकास को कम करते हैं। यह ई. कोलाई, योनि कैंडिडिआसिस और स्टैफ ऑरियस जैसे बैक्टीरिया और फंगस के खिलाफ कार्य कर सकती है। लौंग का अर्क और लौंग का तेल फूड पॉइजनिंग और पेट के संक्रमण से लड़ने में मदद करता है।
यह मसाला ओरल हेल्थ को मजबूत करने के लिए काफी लोकप्रिय है। यह मुंह के बैक्टीरिया से लड़ता है और सांसों की बदबू और मसूड़ों के संक्रमण को कम करके ओरल हेल्थ में सुधार करता है। इसका उपयोग माउथवॉश और टूथपेस्ट में ओरल बैक्टीरिया और दांतों पर प्लाक को कम करने के लिए किया जाता है।
लीवर के लिए फ़ायदेमंद (Beneficial for Liver)
कुछ अध्ययनों के अनुसार, लौंग लिवर के स्वास्थ्य को बेहतर बनाने में मदद करती है। यौगिक यूजेनॉल एंटीऑक्सिडेंट और एंटीइंफ़्लेमेट्री गुणों से भरपूर होती है जो लिवर हेल्थ को बढ़ावा देता है। यह लिवर सिरोसिस और फैटी लिवर की स्थिति के रिस्क को कम करता है। यह ऑक्सीडेटिव तनाव को कम करके लिवर के स्वास्थ्य को मजबूत करने में मदद करता है। कुछ अध्ययनों से पता चलता है कि लौंग लिवर की बीमारियों के लिए जिम्मेदार ग्लूटाथियोन-एस-ट्रांसफरेज़ (जीएसटी) के स्तर को कम करने में मदद कर सकती है।
हालांकि लौंग को लीवर के स्वास्थ्य के लिए एक अच्छे स्रोत के रूप में पहचाना जा सकता है, फिर भी अभी इस पर और मानव अध्ययन की आवश्यकता है।
दूसरी ओर, लौंग का अधिक सेवन यूजेनॉल विषाक्तता या टाक्सिसिटी के कारण लीवर को नुकसान पहुंचा सकता है।
अल्सर को कम करने में मदद करती है (Reduces Ulcer)
पेट के अल्सर तनाव, संक्रमण या आनुवंशिकी का परिणाम होते हैं। ये अल्सर पेट में म्यूकस की परत के कम होने के कारण होते हैं। यह श्लेष्म परत पेट की दीवारों को पाचन के लिए उपयोग किये जाने वाले एसिड से बचाने में मदद करती है। यदि ये दीवारें पतली हो जाती हैं, एसिड के प्रभाव के कारण पेट में अल्सर हो जाता है। लौंग में कुछ यौगिक होते हैं जो इन दीवारों को मोटा करने में मदद करते हैं। लौंग नए अल्सर के विकास के रिस्क को कम करने में मदद करती है और मौजूदा अल्सर का भी इलाज करती है। लौंग का तेल पेट के म्यूकस को बढ़ाने और गैस्ट्रिक अल्सर की संभावना को कम करने में मदद कर सकता है।
प्राकृतिक दर्द निवारक और खांसी रोधी गुण (Natural Painkiller And Anti-Cough Properties)
एक पारंपरिक औषधि के रूप में लौंग का उपयोग खांसी, गले में खराश और दांत दर्द के इलाज में किया जाता है। यह एक बहुत ही सामान्य घरेलू उपाय है जिसका उपयोग खांसी के इलाज के लिए गर्म पेय पदार्थों के साथ किया जाता है। लौंग का तेल भी एक प्रभावी दर्द निवारक या पेनकिलर दवा है जिसका उपयोग सदियों से दांत दर्द के इलाज के लिए किया जाता रहा है।
हड्डी के स्वास्थ्य के लिए अच्छी है (Benficial for Bone Health)
बहुत सारे लोगों को कम अस्थि घनत्व (लो बोन डेन्सिटी), गठिया और ऑस्टियोपोरोसिस जैसी बीमारियों का खतरा है। ऐसे में लौंग मैंगनीज से भरपूर होती है जो हड्डियों के स्वास्थ्य के लिए महत्वपूर्ण है। साथ ही लौंग में यूजेनॉल हड्डियों के घनत्व और ताकत को बढ़ाने में मदद करता है। लौंग के ये लाभ अंततः हड्डियों के कम द्रव्यमान (लो बोन मास) के कारण ऑस्टियोपोरोसिस, फ्रैक्चर और टूटने जैसी स्थितियों को रोकते हैं। हालांकि ये अध्ययन जानवरों तक ही सीमित हैं, मानव अनुसंधान और मानव हड्डियों के स्वास्थ्य पर लौंग के प्रभाव के बारे में अभी और अध्ययन की ज़रूरत है। हालाँकि, लौंग के पाउडर की थोड़ी सी मात्रा शरीर में दैनिक आवश्यक मैंगनीज की लगभग 30% तक की पूर्ति करती है जो बहुत महत्वपूर्ण हैं।
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पुरुषों के लिए लौंग के फायदे (Clove Benefits for Mens)
लौंग पुरुषों के लिए बहुत फायदेमंद होती है और पुरुषों के प्रजनन स्वास्थ्य (रीप्रडक्टिव हेल्थ) को प्रभावित करती है। यह पुरुषों के स्वास्थ्य को कई तरह से बढ़ाने में बहुत उपयोगी है, जैसे:
यह टेस्टोस्टेरोन के स्तर को बढ़ाती है, जो शुक्राणुओं की संख्या में वृद्धि करता है, बांझपन को दूर करता है, लिबीडो को बढ़ाता है, शीघ्र स्खलन की स्थिति को कम करता है और रीप्रडक्टिव अंगों को मजबूत करता है।
इनके अलावा, नहाने में लौंग के आवश्यक तेल का उपयोग करने से यह धूम्रपान या स्मोकिंग की इच्छा को कम कर सकता है जिससे धूम्रपान की आदत छोड़ने में मदद मिलती हैं।
अन्य फ़ायदे (Other Benefits)
इन फायदों के अलावा भी लौंग के और भी फायदे हैं जैसे
सर्दी, फ्लू, खांसी और छाती में कंजेशन का इलाज करने के लिए। लौंग और दालचीनी के साथ मिश्रित कोई भी गर्म पेय इन स्थितियों के लक्षणों को कम करने में मदद कर सकता है। यह त्वचा के लिए भी अच्छा होता है। लौंग त्वचा को डिटॉक्सीफाई कर सकती है और मुंहासों, दाग-धब्बों और काले घेरों को कम कर सकती है। बेहतर परिणाम और चमकती त्वचा के लिए कई हर्बल फेस पैक में इसका इस्तेमाल किया जाता है।
डायबिटीज़ मरीज़ कैसे करें लौंग का सेवन? (How can Diabetic include Clove in their Diet?)
यह एक लोकप्रिय मसाला या जड़ी बूटी है जिसका उपयोग भोजन, दवाओं और सौंदर्य प्रसाधनों में पूरे साल किया जा सकता है। इन सूखे फूलों में न केवल एक अलग सुगंध बल्कि स्वाद भी होता है। आप इसका सेवन कई तरह से कर सकते हैं, जिसमें पूरी कली के रूप में, पेय पदार्थों के साथ और कई व्यंजनों में शामिल किया जा सकता है।
आप इसे कई तरह से इस्तेमाल कर सकते हैं:
लौंग की चाय ( Clove Tea)
लौंग के फायदों का आनंद लेने के लिए लौंग की चाय सबसे आसान नुस्खा है। लौंग की चाय बनाने के लिए:
एक बड़ा चम्मच पिसी हुई लौंग का प्रयोग करें
इसे कुछ मिनट तक उबालें
इसे छान लें और लौंग की चाय के रूप में इसका सेवन करें।
लौंग का पानी (Clove Water)
लौंग का पानी भी इस जादुई मसाले के सेवन का एक शानदार तरीका है। एक गिलास पानी में 3-5 लौंग की कलियां डालकर रातभर के लिए छोड़ दें। इसके फ़ायदों के लिए इसे सुबह पिएं।
लौंग की चाय और लौंग के पानी के अलावा आप इस सूखे फूल को कई व्यंजनों में भी मिला सकते हैं:
- करी और चटनी में प्रयोग करें
- अचार में डालें
- लौंग के साथ मसाला दूध की चाय
- बेकिंग, कुकीज और ब्रेड में मिलाएं
- मीट को सीज़न करने के लिए इस्तेमाल करें
- इसका उपयोग प्राकृतिक परिरक्षक या नेचुरल प्रेज़रवेटिव के रूप में भी किया जा सकता है
लौंग के दुष्प्रभाव (Side Effects of Clove)
लौंग के कई स्वास्थ्य लाभ हैं लेकिन वे स्वास्थ्य को नकारात्मक रूप से प्रभावित भी कर सकते हैं और इसके कुछ दुष्प्रभाव या साइड इफ़ेक्ट्स भी हो सकते हैं। ये मसाले ब्लड शुगर को कम कर सकते हैं और हाइपोग्लाइसीमिया की स्थिति पैदा कर सकते हैं जिसमें किसी व्यक्ति को चक्कर आ सकते हैं या मतली आ सकती है। इसमें पाया जाने वाला योगिक यूजेनॉल कुछ रक्त पतला करने वाली दवाओं या ब्लड थिनिंग दवाओं के साथ भी रिएक्ट कर सकता है और साइड इफ़ेक्ट्स का कारण बन सकता है। हालांकि लौंग की कम मात्रा के नकारात्मक से ज्यादा सकारात्मक परिणाम हो सकते हैं लेकिन अधिक मात्रा में इसका सेवन करते समय हमेशा ध्यान दें। अधिक मात्रा में यूजेनॉल विषैला या टॉक्सिक हो सकता है और चक्कर आ सकते है।
पारंपरिक चिकित्सा प्रणाली के अनुसार, लौंग एक गर्म मसाला है जिसका अधिक मात्रा में सेवन करने पर नाक से खून आना, मुंह के छाले, पेट में जलन या और गले में दाने हो सकते हैं इसलिए इसका अत्यधिक सेवन और ज़्यादा गर्मी में सेवन ना करें।
साथ ही कुछ लोगों को लौंग से एलर्जी होती है इसलिए उन्हें इससे बचना चाहिए।
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निष्कर्ष( Conclusion)
लौंग दिखने में छोटे आकार का मसाला है लेकिन इसके कई स्वास्थ्य लाभ हैं। यह कई पोषक तत्व प्रदान करती है जो शुगर को नियंत्रित करने में मदद करते है, कोलेस्ट्रॉल और ट्राइग्लिसराइड्स को कम करते है, हड्डी, लीवर और गैस्ट्रिक स्वास्थ्य में सुधार करते है, दर्द कम करते है, हृदय रोग और कैंसर के जोखिम को कम करते है और ओरल हेल्थ में फ़ायदेमंद होते हैं।
यह उन प्रमुख जड़ी बूटियों में से एक है जिसका उपयोग हर भारतीय घर में सर्दी, खांसी, सांसों की बदबू, कंजेशन, बुखार और दर्द जैसी स्थितियों के इलाज के लिए किया जाता है। यह एक पारंपरिक औषधि है जो त्वचा के स्वास्थ्य में सुधार करने में भी मदद करती है। सांसों की दुर्गंध, प्लाक, दांतों में दर्द, मसूड़ों के संक्रमण और दांतों की सड़न की समस्याओं को दूर करने के लिए माउथवॉश और टूथपेस्ट जैसे कई ओरल हाइजीन उत्पादों में इसका उपयोग किया जाता है।
यह दर्द निवारक या पेनकिलर के रूप में भी काम करता है। तो इस प्रकार इस अद्भुत मसाले को अपनी डेली डाइट में शामिल करने से आपको कई स्वास्थ्य लाभ मिल सकते हैं। हालांकि इसे सीमित मात्रा में सेवन करने की सलाह दी जाती है क्योंकि अधिक मात्रा में लौंग विषाक्त या ज़हरीली हो सकती है और कुछ साइड इफ़ेक्ट्स पैदा कर सकती है।
सामान्यता पूछे जाने वाले प्रश्न:
क्या हर रोज लौंग का सेवन ठीक है?
जरूरत पड़ने पर सीमित मात्रा में लौंग का सेवन करना सेहत के लिए बुरा नहीं है। कुछ स्थितियां जहां आप हर दिन लौंग खा सकते हैं, खांसी, सर्दी, फ्लू, संक्रमण, साइनस, अस्थमा, कंजेशन आदि हैं। लौंग दांत दर्द में भी मदद करती है, इसलिए जब तक दर्द से राहत नहीं मिल जाती, तब तक आप उन्हें हर दिन ले सकते हैं। लौंग का गुनगुना पानी भी हाथ-पैरों की कंपकंपी का इलाज करने में मदद करता है इसलिए सोने से पहले इसे पी लें।
क्या लौंग जहरीली हो सकती है?
कम मात्रा में लौंग स्वास्थ्य के लिए खराब नहीं होती है लेकिन लौंग का अधिक सेवन यूजेनॉल विषाक्तता या टॉक्सिसिटी का कारण बन सकता है। यह लीवर के लिए हानिकारक हो सकता है और बच्चों में लीवर को नुकसान पहुंचा सकता है। साथ ही, पारंपरिक दवाओं में लौंग को एक गर्म मसाला माना जाता है, इसलिए इसके अत्यधिक उपयोग से नकसीर, पेट में जलन, मुंह के छाले और गले में दाने हो सकते हैं।
क्या मैं नियमित रूप से लौंग का पानी पी सकता हूँ?
लौंग कई विटामिन, खनिज और स्वस्थ यौगिकों से भरपूर होती है जिनके कई स्वास्थ्य लाभ या हेल्थ बेनेफिट्स होते हैं। रोज सुबह लौंग का पानी पीने से आपकी इम्यूनिटी को बढ़ाने में मदद मिल सकती है। यह फ्लू, वायरल और बैक्टीरियल संक्रमण और सामान्य सर्दी के प्रभाव को कम करती है। इसकी मैंगनीज आपके हड्डियों के स्वास्थ्य को बेहतर बनाने में भी मदद करती है। लेकिन इसकी अधिक मात्रा ना लें। दैनिक ज़रूरत के हिसाब से इसका सेवन करें क्योंकि यह तासीर में काफी गर्म होती है।
क्या लौंग ब्लड शुगर को कम करने में मदद कर सकती है?
कुछ अध्ययनों से पता चलता है कि लौंग रक्त शर्करा के लिए अच्छी है। इसके एंटीऑक्सीडेंट और एंटी-इंफ्लेमेटरी गुण इंसुलिन रेज़िस्टेंस को कम करते है और ब्लड में इंसुलिन के बनने को बढ़ाते हैं। इससे बढ़ी हुई ब्लड शुगर नियंत्रित की जा सकती है। इसके अलावा यह डायबिटीज़ या हाई ब्लड शुगर से जुड़ी समस्याओं के रिस्क को कम करती है। यह मसल्स में ग्लुकोज़ अपटेक को भी बढ़ाती हैं जिससे ब्लड सर्कुलेशन में से एक्स्ट्रा शुगर निकालने में मदद मिलती है।
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